Dividend in Hindi

दोस्तों बहुत से लोग पैसिव इनकम जनरेट करना चाहते है पर अपना पैसा कहीं भी इन्वेस्ट भी नहीं करना चाहते है। इसके कई कारण हो सकते है, जैसे- उन्हें ये न पता हो कि पैसे कहाँ इन्वेस्ट करे? या इन्वेस्ट करने से पैसा डूब जाने का डर हो आदि आदि।

दोस्तों आज मैं एक ऐसे पैसिव इनकम स्रोत के बारे में बताने जा रहा हूँ, जिनके इनकम से कोई टैक्स भी नहीं देना पड़ता है, यानी 100% टैक्स फ्री।

तो हम बात करने वाले है Dividend से होने वाले इनकम पर... जब हम शेयर मार्केट में अपना पैसा इन्वेस्ट करते है तो हमें दो तरह के लाभ मिलते है: पहला यदि हम कम कीमत पर किसी शेयर को खरीद लेते है और कुछ समय बाद जब उस शेयर की कीमत बढ़ जाती है, तो उसे बेच कर लाभ कमाया जा सकता है। दूसरा कि जिस भी कंपनी की शेयर हमारे पास है, यदि वह कंपनी लाभ कमाती है, तो वह अपने लाभ के कुछ हिस्सों को अपने शेयर होल्डर्स के बीच बाँट देती है, जिसे डिविडेंड (Dividend) या लाभांश कहते है।

Art Of Investing



Dividend in Hindi

Dividend या लाभांश किसी कंपनी का नेट प्रॉफिट यानी शुद्ध मुनाफा का एक हिस्सा होता है, जिसे शेयर होल्डर्स के बीच बाँटा जाता है। हर साल डिविडेंड देना कंपनी के लिए कोई जरूरी नहीं है। डिविडेंड देना या न देना कंपनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स के द्वारा AGM (Annual General Meeting) में निर्णय लिए जाते है। डिविडेंड प्रति शेयर के हिसाब से दिए जाते है अर्थात शेयर होल्डर्स को उतने अनुपात में डिविडेंड दिए जाते है जितने कि उसके पास उस कंपनी के शेयर्स हो।

मान लीजिए राहुल के पास ABC Ltd के 100 शेयर्स है और कंपनी ने 12 रुपये प्रति शेयर डिविडेंड देने की घोषणा की, तब राहुल को कुल 100*12 =1200 रुपये डिविडेंड की राशि उसके डीमैट एकाउंट से लिंक्ड बैंक एकाउंट में क्रेडिट हो जाएगा।

Dividend हमेशा Face Value के आधार पर दिया जाता है। जैसे किसी कंपनी के Face Value 10 रुपये है और 200% की Dividend देने की घोषणा करते हो तो

Dividend = 10 रु का 200% = 10*200/100 = 20 रुपये



Dividend Yield:

Dividend Yield एक फाइनेंसियल रेशियो है जो शेयर्स की डिविडेंड कमाने की क्षमता को बताता है।

मान लीजिए ABC Ltd कंपनी की फेस वैल्यू 10 रुपये और उसके कर्रेंट मार्केट शेयर प्राइज 500 रुपये है और कंपनी 200% डिविडेंड देने की घोषणा करता है तब

Dividend Yield = Annual Dividend Per Share/ Current Market Price * 100

= 20/500 * 100

= 4%

याद रखे कि शेयर प्राइस और Dividend Yield के बीच विपरीत संबंध होते है।
1. जब शेयर प्राइस बढ़ती है तब Dividend Yield घटती है
2. और जब शेयर प्राइस घटती है तब Dividend Yield बढ़ती है।



Type of Dividend

1. Interim Dividend: इस प्रकार के डिविडेंड को वित्तीय वर्ष के बीच में दे दिए जाते है।
2. Final Dividend: इसे वित्तीय वर्ष के अंत में दिए जाते है अर्थात ये सालाना आधार पर दिए जाते है।



Dividend की तारीख

Dividend Declaration Date: इस तारीख को कंपनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स के द्वारा AGM (Annual General Meeting) में डिविडेंड पर निर्णय लिए जाते है।

Ex Dividend Date: यदि आपको किसी कंपनी की डिविडेंड चाहिए तो इस तारीख के पहले आपके डीमैट एकाउंट में शेयर्स होना चाहिए, तभी आपको डिविडेंड मिल पायेगा।

Record Date: ये वो तारीख होती है, जिसमें कंपनी के शेयर्स होल्डर्स के रिकार्ड देखे जाते है और उन्ही को डिविडेंड जारी करने का निर्णय लेती है, जिनका इस तारीख को शेयर्स होल्डर्स के नाम (Record) शामिल हो।

Dividend Payout Date: इस तारीख को डिविडेंड शेयर्स होल्डर्स के बैंक एकाउंट में क्रेडिट हो जाते है।



Important Points

1. Dividend एक कार्पोरेट एक्शन होती है। इसकी घोषणा/ निर्णय कंपनी AGM में बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स के द्वारा किया जाता है।
2. यह एक टैक्स फ्री आय होती है।
3. यह हमेशा Face Value के आधार पर दिया जाता है।
4. ये कंपनी के नेट प्रॉफिट या रिजर्व से ही दिए जाते है।
5. हर साल डिविडेंड देना या न देना कंपनी के लिए जरूरी नहीं होता है।
6. डिविडेंड की घोषणा के तुरंत बाद नहीं दिए जाते है, इसके लिए एक विशेष तारीख तय किये जाते है।
7. डिविडेंड की राशि डीमैट एकाउंट से लिंक्ड बैंक एकाउंट में ही क्रेडिट किया जाता है।


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