यदि 2022 के लिए अभी तक आप अपने लिए कोई फाइनेंसियल प्लानिंग नहीं किये हो तो अभी भी कुछ समय है, जिसमे आप अपना टैक्स, इन्सुरेंस, बजट, निवेश, लॉन्ग टर्म गोल और शॉर्ट टर्म गोल सेट कर सकते है। इनकम टैक्स में छूट के लिए 31 मार्च 2022 से पहले पहले अपनी जरूरत और टैक्स के हिसाब से निवेश कर लेना चाहिए, ताकि टैक्स सेविंग के समय जल्दी में गलत निवेश न कर बैठे। अपनी फाइनेंसियल प्लानिंग करते समय किसी की नकल बिल्कुल नहीं करना चाहिये, क्योंकि किसी दूसरे और आपकी आमदनी, खर्चें, सेविंग, इन्वेस्टमेंट, गोल और इच्छाएं आदि सभी अलग अलग होती है। इसलिए आप अपने हिसाब से प्लानिंग करेंगे तो ये ज्यादा अच्छा होगा।
1. सपने और इच्छायें (Dream & Desire)
हमें खुशी तब मिलती है जब हमारे सपने और इच्छायें पूरी होती है। लेकिन हमें सपने और इच्छाओं के लिए प्लानिंग करनी पड़ती है, तभी हमारा गोल तय समय में पूरा हो पाता है। तो सबसे पहले हमारे पर्सनल फाइनेंस की प्लान बनाते समय सपने, इच्छाओं और परिवार की खुशी को जरूर शामिल करें। कई लोग ऐसे फाइनेंसियल प्लानिंग लेते है कि वह बहुत बड़ा और अस्पष्ट होता है, जो कि निर्धारित समय पर अचीव नहीं होता, जिससे वे दुखी व निराश हो जाते है। इसलिए अपने लिए ऐसी गोल सेट करें जो इतनी बड़ी न हो कि अचीव करना मुश्किल हो और न ही इतना छोटा हो कि गोल बनाने की जरूरत ही न पड़े।
जैसे हमें कोई ड्रीम कार लेनी है तो उसके प्राइस, ब्रांड, यहाँ तक उसके कलर का भी चुनाव पहले से कर लेना चाहिए, इस तरह हमारे गोल स्पष्ट होने से उसे प्राप्त करने की संभावना बढ़ जाती है। याद रखे कि इस गोल में अपने सपने और इच्छाओं के अलावा बच्चों की एजुकेशन, मैरिज या रिटायरमेंट जैसे लॉन्ग टर्म गोल को शामिल नहीं करें, बल्कि इसके लिए एक अलग से गोल सेट करें।
2. बजट (Budget)
अपने ड्रीम, डिजायर, फैमिली की ख़ुशी और आवश्यकता को पूरा करने के लिए आगे हमें बजट बनाने की जरूरत होती है। बजट हमें पूरे साल के लिए बनाना चाहिए जिसमें साल भर में होने वाले संभावित आमदनी और खर्चें का लेखा जोखा एक्सेल शीट की मदद से कर सकते है। साल भर का आमदनी और खर्चें का लेखा जोखा मंथ वाइज और वीक वाइज डिटेल्स में होना चाहिए। बजट बनने से आमदनी, खर्चें, बचत, निवेश, इन्सुरेंस आदि सभी चीजें क्लीयर हो जाती है। इससे आपके समय पर गोल अचीव करने की संभावना बढ़ जाती है।
कई लोग बड़े-बड़े खर्चें की तो बजट बना लेते है, मगर छोटे छोटे खर्चों जैसे- पेपर बिल, मोबाइल बिल, सुपर मार्केट में कुछ पसंद की चीजों का बिल, खिलौने का बिल, चाय नास्ते का बिल आदि को इग्नोर कर देते है। जब आप इन्ही छोटे छोटे खर्चों का एक लिस्ट बनाएंगे और उसे काउंट करेंगे तो एक बड़ी राशि बनती है। इसलिए हमें सभी छोटे बड़े खर्चों का हिसाब रखना चाहिए। सभी खर्चों का हिसाब रखने के लिए एक्सेल शीट या किसी मोबाईल एप्प का उपयोग कर सकते है। इससे आप अपने आमदनी और खर्चों को आसानी से ट्रैक कर सकते है।
3. टैक्स (Tax)
2022 के बजट में इनकम टैक्स स्लैब में कोई बदलाव तो नहीं हुआ है। टैक्स पेयर अभी भी सेक्शन 80C के तहत 1.5 लाख तक छूट का दावा कर सकता है। ELSS, PPF, EPF, NPS, यूलिप, सुकन्या समृद्धि योजना, टर्म इन्सुरेंस, नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट, FD, दो बच्चों के ट्यूशन फीस आदि से सेक्शन 80C के तहत 1.5 लाख के छूट के लाभ ले सकते है।
सेक्शन 80EEA के तहत होम लोन पर 50000 रुपये के EMI पर अतिरिक्त छूट ले सकते है, लेकिन घर की प्राइस 50 लाख से कम हो और साथ ही घर की स्टाम्प ड्यूटी 45 लाख से कम होनी चाहिए।
सेक्शन 80CCD(1B) के तहत यदि नेशनल पेंशन योजना (NPS) या अटल पेंशन योजना में निवेश किये हो तो 50000 रुपये तक अतिरिक्त छूट का लाभ ले सकते है।
सेक्शन 80D के तहत स्वास्थ्य बीमा पर भी स्वयं, पति-पत्नी और बच्चे के हेल्थ इन्सुरेंस पर 25000 रुपये तक की छूट का दावा कर सकते है। माता-पिता यदि 60 साल से अधिक हो और उसके नाम पर हैल्थ इन्सुरेंस पर 50000 रुपये की अतिरिक्त छूट का लाभ ले सकते हैं।
यदि आपको टैक्स बचाना है तो 31 मार्च से पहले इनमें निवेश कर सकते है।
4. इन्सुरेंस (Insurance)
बहुत से लोग इसलिए कोई जीवन बीमा पॉलिसी ख़रीदते है, क्योंकि वे उसे एक इन्वेस्टमेंट की तरह समझते है, जो कि बिल्कुल गलत है। लेकिन इन्सुरेंस और इन्वेस्टमेंट में बहुत अंतर है। इन्वेस्टमेंट में हम पैसों से पैसा बनाते है, जबकि इन्सुरेंस किसी गंभीर बीमारी, अपंगता या असामयिक मृत्यु पर फैमिली के लिए एक फाइनेंसियल सपोर्ट के रूप में काम करता है। हमें अपने लिए एक टर्म इन्सुरेंस प्लान जरुर खरीदना चाहिए। टर्म इन्सुरेंस बहुत ही कम प्रीमियम पर बहुत बड़ा लाइफ कवरेज प्रदान करता है। 25 साल की उम्र के लिए 1 करोड़ का टर्म इन्सुरेंस आपको 500 से 700 रुपये तक मासिक प्रीमियम पर मिल जाता है।
अपने पूरे परिवार के लिए एक हेल्थ इन्सुरेंस जरूर ले, ताकि कोई बड़ी मेडिकल इमरजेंसी में काम आये। याद रखे किसी बड़ी मेडिकल इमरजेंसी के समय हेल्थ इन्सुरेंस नहीं होने से आपकी पूरी जमा पूंजी एक ही झटके में समाप्त हो सकती है और साथ ही आपके ऊपर कर्जे भी बढ़ सकते है।
साथ ही साथ हमें बाइक, कार, और महंगी चीजों की भी इन्सुरेंस करा लेनी चाहिए।
5. निवेश (Investment)
टैक्स प्लानिंग वाले निवेश विकल्प और हैल्थ व टर्म इन्सुरेंस में 1.5 लाख तक निवेश करने के बाद और अधिक निवेश करने की जरूरत नहीं है। टैक्स सेविंग स्कीम में निवेश करने के बाद हमें अन्य निवेश विकल्प जैसे शेयर्स, म्यूच्यूअल फंड्स में निवेश करना चाहिए। शेयर्स और म्यूच्यूअल फंड्स में रिस्क तो होते है लेकिन इसमें रिटर्न की संभावना भी अधिक होता है। यदि इन दोनों विकल्पों का अच्छा नॉलेज नहीं है तो किसी फाइनेंसियल एडवाइजर की सलाह लेकर निवेश कर सकते है, भले ही एडवाइजर को थोड़ा कमीशन देना पड़े। साथ ही साथ निवेश संबंधी अपनी नॉलेज को भी बढ़ाते रहे।
शेयर्स और म्यूच्यूअल फण्ड में निवेश करते समय अपने रिस्क पोटेंशियल के अनुसार एसेट अलोकेशन करना चाहिए। उदाहरण के लिए यदि आपकी उम्र 21 से 40 वर्ष के बीच हो तो 50:30:20 अनुपात में एसेट अलोकेशन करे, जिसमें 50% इक्विटी, 30% डेब्ट और 20% गोल्ड या अन्य में निवेश कर सकते है और यदि आपकी उम्र 40 वर्ष से अधिक हो तो एसेट अलोकेशन इसके ठीक उलट अनुपात में कर सकते है। क्योंकि बढ़ती उम्र में हम ज्यादा रिस्क नहीं ले सकते है, इसलिए इक्विटी में बढ़ती उम्र के साथ निवेश राशि को कम करते जाना चाहिए।
निवेश करते समय हमें शॉर्ट टर्म गोल और लॉन्ग टर्म गोल को पहले डिफाइन कर लेना चाहिए। शॉर्ट टर्म और लॉन्ग टर्म गोल के आधार पर अलग-अलग पोर्टपोलियो बनाये और उसे अच्छे से मैनेज करे। अपने पोर्टपोलियो का बीच-बीच में मॉनिटरिंग करते रहे। बच्चों की एजुकेशन, मैरिज या रिटायरमेंट जैसे लॉन्ग टर्म गोल के लिए स्टॉक मार्केट, म्यूच्यूअल फण्ड या रियल स्टेट में निवेश सबसे अच्छा विकल्प हो सकता है।
6. इमरजेंसी फण्ड (Emergency Fund)
और अंतिम पॉइंट जो बहुत ही इम्पोर्टेन्ट है यह कि बजट बनाते समय एक इमरजेंसी फण्ड जरुर बनाये। इस फण्ड में कम से कम अपनी सैलरी के 4 या 6 महीने के बराबर कैपिटल सेव करके रखे। इस फण्ड को बनाने का मुख्य मकसद यह है कि परिवार में अचानक कोई मेडिकल इमरजेंसी, नौकरी छूटने या अन्य कोई बड़ी फाइनेंसियल प्रॉब्लम के समय इस इमरजेंसी फण्ड का उपयोग कर सकते है।
तो इस तरह आप ड्रीम व डिजायर, बजट, टैक्स, इन्सुरेंस, इन्वेस्टमेंट और इमरजेंसी फण्ड ये 6 पॉइंट्स पर फोकस कर प्लानिंग करने से आपका फाइनेंसियल हैल्थ 2022 में पहले से अच्छा हो सकता है।